बुधवार, 9 अक्टूबर 2013

नेता के रिश्तेदार अफसर स्वयं हटें

-उप चुनाव आयुक्त विनोद जुत्सी ने कहा
प्रशासनिक संवाददाता
भोपाल। प्रदेश में पदस्थ ऐसे अधिकारी जो निर्वाचन कार्य में लगे हैं और उनका कोई रिश्तेदार सक्रिय राजनीति में है तो, ऐसे अधिकारियों को खुद चुनाव प्रक्रिया से दूर हट जाना चाहिए। यह बात भारत निर्वाचन आयोग के उपायुक्त विनोद जुत्सी ने राजधानी भोपाल में पत्रकारों से चर्चा में कही। उन्होंने कहा कि कुछ अधिकारियों के खिलाफ आयोग को शिकायत मिली हैं, जिनके आधार पर सामान्य प्रशासन विभाग से जानकारी मांगी गई है। 
    जुत्सी ने कहा कि आयोग को कुछ अधिकारियों के संबंध में ऐसी जानकारी मिली हैं कि पिछले विधानसभा चुनाव में वे जिस जिले में पदस्थ थे, वे तीन-चार साल बाद फिर से उसी स्थान पर पदस्थ हो गए हैं। आयोग ने सामान्य प्रशासन विभाग से ऐसे अधिकािरयों की जानकारी तलब की है। तबादलों को लेकर 500 शिकायतें मिली हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारियों के तबादले का निर्णय दो-तीन दिन में आ जाएगा। आचार संहिता के उल्लंघन से संबंधित रिपोर्ट करने के लिए सभी जिलों को निर्देशित किया गया है।
    जुत्सी ने कहा कि मु य निर्वाचन पदाधिकारी के निर्देशों का जिलों में पालन किया गया है या नहीं। वरिष्ठ पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के साथ इसकी   समीक्षा की जाएगी। उन्होंने कहा कि संवेदनशील बूथों पर कानून व्यवस्था, चुनाव खर्च नियंत्रण को लेकर अधिकारियों से चर्चा की जाएगी। इसके लिए बुधवार को भोपाल में पांच संभागों की चुनावी तैयारियों की समीक्षा की जाएगी। 10 अक्टूबर को इंदौर में समीक्षा होगी। इसके बाद 17 अक्टूबर को जुत्सी फिर आएंगे और शहडोल में चुनावी तैयारियों की समीक्षा करेंगे। जुत्सी ने कहा कि चुनाव में सुरक्षा, धन का दुरुपयोग रोकने टीमों का गठन, प्लाइंग स्क़्वाइड का गठन को लेकर जानकारी ली जाएगी।

सीएम हाउस में बैठक की जांच कराएंगे
जुत्सी ने कहा कि मु यमंत्री निवास में राजनीतिक बैठक होने की यदि शिकायत मिलती है तो उसकी जांच कराई जाएगी। फिलहाल आयोग को लिखित में शिकायत नहीं मिली है। साथ ही उन्होंने कहा कि इंदौर विकास प्राधिकरण में आचार संहिता लागू होने के बाद नियुक्ति होने का मामला आयोग के पास है। आयोग एक-दो दिन में अपना निर्णय दे देगा। 

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