-एनजीटी ने सिद्दीक हसन तालाब मामले में की सुनवाई
भोपाल।
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल की सेंट्रल जोन बेंच में शुक्रवार को पुराने शहर में स्थित सिद्दीक हसन तालाब की सुनवाई हुई। जस्टिस दलीप सिंह और एक्सपर्ट पीएस राव के सामने नगर निगम के वकीलों और याचिकाकर्ता श्यामनारायण चौकसे ने अपने पक्ष रखे। सुनवाई के दौरान निगम की ओर से 1940 का खसरा पेश किया। ये खसरा उर्दू में था, जिसे देखकर ट्रिब्यूनल ने इसकी अनुवादित कॉपी 24 अक्टूबर तक पेश करने के निर्देश दिए। तालाब के इर्द- गिर्द किए गए अतिक्रमण के फोटोग्राफ देखकर ट्रिब्यूनल ने कहा कि इसके आसपास किए गए निर्माण को देखकर नहीं लगता कि ये 1940 के पहले के हैं। सुनवाई के दौरान पुराने शहर के वे रहवासी भी मौजूद थे, जो तालाब के आसपास रहते हैं।
भोपाल।
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल की सेंट्रल जोन बेंच में शुक्रवार को पुराने शहर में स्थित सिद्दीक हसन तालाब की सुनवाई हुई। जस्टिस दलीप सिंह और एक्सपर्ट पीएस राव के सामने नगर निगम के वकीलों और याचिकाकर्ता श्यामनारायण चौकसे ने अपने पक्ष रखे। सुनवाई के दौरान निगम की ओर से 1940 का खसरा पेश किया। ये खसरा उर्दू में था, जिसे देखकर ट्रिब्यूनल ने इसकी अनुवादित कॉपी 24 अक्टूबर तक पेश करने के निर्देश दिए। तालाब के इर्द- गिर्द किए गए अतिक्रमण के फोटोग्राफ देखकर ट्रिब्यूनल ने कहा कि इसके आसपास किए गए निर्माण को देखकर नहीं लगता कि ये 1940 के पहले के हैं। सुनवाई के दौरान पुराने शहर के वे रहवासी भी मौजूद थे, जो तालाब के आसपास रहते हैं।
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