मंगलवार, 9 जुलाई 2013

जिला अदालत ने राघवजी को भेजा जेल

-सीजीएम कोर्ट में 16 मिनट रहे पूर्व वित्तमंत्री 
-22 जुलाई को होगी अगली सुनवाई
-अग्रिम जमानत याचिका हुई खारिज 
भोपाल। 
दिन भर चले नाटकीय घटनाक्रम के बाद शाम 6.08 बजे जिला अदालत पहुंचे पूर्व वित्तमंत्री राघवजी सावला को न्यायालय ने जेल भेज दिया। करीब 16 मिनट सीजीएम कोर्ट में दोनों पक्षों के वकीलों की जिरह हुई। दलीलें सुन सीजीएम एसके पाण्डेय ने राघवजी को जेल भेजने के आदेश देते हुए सुनवाई के अगली तारीख 22 जुलाई नियत की। 
यौन शोषण में फंसे राघवजी को गांधी नगर, रोड स्थित सेंट्रल जेल के बैरक नम्बर-10 में रखा जाएगा। निज सेवक राजकुमार दांगी और घनश्याम कुशवाह से अप्राकृतिक कृत्य की सीडी सार्वजनिक होने के बाद से राघवजी भूमिगत चल रहे थे। कोर्ट में राघवजी की तरफ से अधिवक्ता पुरुषोत्म पंजवानी और अनुराग महेश्वरी उपस्थित थे। अधिवक्ताओं ने जमानत दिए जाने के लिए कोर्ट से निवेदन किया। इस पर दांगी और कुशवाह के वकील संजय गुप्ता, दीपचंद यादव और सिद्धार्थ गुप्ता ने बहस करते हुए कहा, कोर्ट सभी के लिए एक समान है। ऐसे कृत्य के बाद जमानत का सवाल ही नहीं उठता। इस पर बचाव पक्ष के वकीलों ने राघवजी की तबियत खराब होने का हवाला दिया। कोर्ट ने भी राघवजी से पूछा तो उन्होंने कहा, मुझे घबराहट होती है। विपक्षी वकीलों ने सामान्य कैदी के तौर पर मेडिकल सुविधाएं दिए जाने को कहा। कोर्ट ने बात मानते हुए जेल में ही सामान्य मेडिकल सुविधाएं देने को कहते हुए 24 जुलाई की पेशी देते हुए न्यायिक हिरासत में भेज दिया। 
इससे पहले पुलिस द्वारा राघवजी की गिरफ्तारी होने की सूचना मिली। करीब दोपहर 1.30 मिली इस सूचना के बाद हबीबंज थाने में मीडिया का हुजूम लग गया। हाई प्रोफाइल मामले में पुलिस को भी हाईली ड्रामा करना पड़ा। आधे घंटे बाद एसपी नार्थ अरविंद सक्सेना एमपी-03-ए-8716 से हबीबगंज थाने पहुंचे। दोपहर 1.55 पर एमपी-03-ए-1574 से पुलिस राघवजी को थाने लाई। यहां भारी संख्या में पुलिस बल जुट चुका था। यहां करीब 4.30 बजे तक राघवजी थाने में रहे और यहां से सीधे मेडिकल चेकअप के लिए हमीदिया अस्पताल ले जाया गया। 

-भीतर थे राघव, गेट पर था ताला 
एसपी अरविंद सक्सेना ने बताया, कोहेफिजा के राशिप्रभा अपार्टमेंट के द्वितीय तल के फ्लैट क्रमांक-102 से राघवजी की गिरफ्तार किया गया। यहां उनके साथ उनकी पत्नी मीरा बेन और भांजा विवेक सावला था। फ्लैट विवेक के नाम से बताया जा रहा है। श्री सक्सेना ने कहा, फ्लैट में बाहर से ताला लगा हुआ था। खबर पुख्ता होने पर फ्लैट का ताला तोड़ गया। इससे पहले कोहेफिजा क्षेत्र के ताले जड़े करीब 50 घरों के ताले तोड़े। भूमिगत हुए राघवजी की लोकेशन तलाने बीते तीन दिनों से पुलिस सर्चिंग कर रही थी। इस काम में 12 सदस्यीय टीम लगी थी, जिसमें एक एसपी, दो एडिशनल एसपी सहित अन्य पुलिस कर्मचारी शामिल थे। 

-क्राइम ब्रांच की महत्वपूर्ण भूमिका 
राघवजी की गिरफ्तारी में महत्वपूर्ण भूमिका क्राइम ब्रांच की रही। पुलिस मुख्यालय के उच्च अधिकारियों के अनुसार राघवजी के मोबाइल से उनकी लोकेशन ट्रेस की जा रही थी। वहीं यह भी देखा जा रहा था कि उनके विदिशा स्थित घर में किस नंबर से कॉल आ रही है और जा रही है। इसमें साइबर सेल की मदद ली गई। उनके घर के कुछ मोबाइल नम्बरों पर लगातार नजर थी। कोहेफिजा थाना क्षेत्र में उनके होने की सूचना मिल रही थी। इसी आधार पर पुलिस की टीम ने दबिश दी। 

-मैं बीमार हूं, इलाज की जरूरत है 
अदालत ने आरोपी से पूछा तुम्हें क्या कहना है, इस पर आरोपी राघवजी ने कहा कि साहब मैं मुझे घबराहट हो रही है मैं बीमार हूं। अदालत ने आदेश दिए कि आरोपी का जेल में ही नियमनुसार उपचार कराया जाए। दरअसल, सीजेएम संजय कुमार पाण्डेय की अदालत में सवाल उठे कि ऐसे कृत्य के लिए जमानत का प्रावधान ही नहीं है, तो कैसे जमानत दी जाए? राघवजी की पेरवी कर रहे वकील चुप हो गए। अधिवक्ता पुरुषोत्तम पंजवानी और अनुराग महेश्वरी ने अदालत में आवेदन पेश कर कहो, आरोपी की तबियत खराब है उसे इलाज की सख्त जरूरत है। राघवजी ने भी मुझे घबराहट हो रही है। इसी बीच अधिवक्ता सिद्धार्थ गुप्ता, संजय गुप्ता एवं दीपचंद यादव ने अपनी आपत्ति दर्ज कराई। इस पर बचाव के अधिवक्ताओं ने उनकी लोक सस्टेड़ी पर आपत्ति दर्ज कराते हुए अदालत से उनका पक्ष नहीं सुनने का आग्रह किया। इस पर बचाव एवं आपत्तिकर्ता वकील आपस में बहस करने लगे। अदालत ने कहा, प्रकरण में ऐसी स्थिति निर्मित नहीं हुई है, जिस पर बहस की जाए। अदालत ने कहा, जहां तक सवाल आरोपी की तबियत से संबंधित है तो आदालत आरोपी से ही पूछ लेगी। राघवजी से पूछने के बाद अदालत ने आदेश दिया उन्हें जेल में ही नियमनुसार उपचार दिया जाए। 

-छावनी बनी अदालत 
आरोपी राघवजी को हबीबगंज थाना टीआई जीपी अग्रवाल द्वारा मय केस डायरी के बजे भारी सुरक्षा के बीच अदालत में पेश किया गया। अदालत परिसर पूरी तरह छावनी में तब्दील हो चुका था। अदालत में राघवजी को पेश करने की अटकलों के चलते दोपहर करीब 3 बजे के बाद से अदालत में भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था। मीडियाकर्मियों का भी हुजूम लग गया था। परिसर में वकील और पक्षकरों सहित अन्य तमाशबीन भी अदालत के   मुख्यद्वार पर जमा होने गए थे। करीब 4 बजे तक अदालत परिसर में हजारों की संख्या में भीड़ जुट गई थी। 

-आज होगी अर्जी पर सुनवाई 
अधिवक्ता अनुराग महेश्वरी ने आरोपी राघवजी की ओर जिला एवं सत्र न्यायालय के समक्ष जमानत अर्जी पेश कर दी गई है,अदालत ने जमानत अर्जी को सुनवाई में ग्रहण किए जाने के आदेश देते हुए मामले की केस डायरी प्रस्तुत करने के आदेश जारी किए हैं, जमानत अर्जी पर बुधवार को सुनवाई होगी। 

-अदालत ने देखे दोनों आधार 
अदालत ने स्वास्थ्य, उम्र और बीमारी को आधार मानते हुए आदेश दिया। अधिवक्ता अनुराग महेश्वरी ने बताया, उनका पक्षकार की 80 साल हो चुकी है। लिहाजा इस उम्र में अक्सर बीमार वे अस्वस्थ्य रहते हैं। उनका उपचार चलता रहता है, वे एक एक  स्वच्छ राजनीतिक छवि वाले व्यक्ति हैं। उसे राजनीतिक जलन, द्विवेश के झूंठा फंसाया गया है। इस पर अधिवक्ता सिद्धार्थ गुप्ता, दीपचंद यादव और संजय गुप्ता ने कहा, ऐसा बिल्कुल नहीं है। कृत्य निदंनिय है। अदालत ने कट घरे में खड़े होने वाले को एक सामान दृष्टि अपनाते हुए सामान्य स्वास्थ्य सुविधा देने को कहा। 

टोटल रिकॉल 
10.30 बजे पुलिस ने रात भर तलाश ने के बाद फिर से सर्चिंग शुरू कर दी। 
01.00 बजे सर्चिंग के दौरान राशिअपार्टमेंट के फ्लैट नम्बर-102 के बाहर पहुंची। 
01.10 बजे खबर पुख्ता होते ही ताला तोड़ा और पुलिस ने घर में दबिश दी। यहां राघवजी सावला कुर्सी पर बैठे मिले। पत्नी मीरा बेन पूजा कर रही थीं। 
1.30 बजे राघवजी को गिरफ्तार कर हबीबगंज थाने रवानगी डाली। 
1.55 बजे राघवजी को पुलिस वाहन द्वारा हबीबगंज थाने लाया गया। 
4.30 बजे तीन घंटे तक थाने में चली पूछताछ के बाद राघवजी को मेडिकल के लिए हमीदिया भेजा गया। 
6.08 बजे हमीदिया में मेडिकल के बाद पुलिस उन्हें जिला न्यायालय लेकर पहुंची। 
6.24 बजे न्यायालय में करीब 16 मिनट चली बहस के बाद उन्हें सेंट्रल जेल भेज दिया गया। 


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