गुरुवार, 7 फ़रवरी 2013

'कोई कुपोषण का शिकार न हो'

-आईसीडीएस कार्यशाला में बोले प्रमुख सचिव नायडू 
भोपाल।
 कमिश्नर कार्यालय में आयोजित आईसीडीएस कार्यशाला में महिला एवं बाल विकास विभाग के प्रमुख सचिव बीआर नायडू ने कहा, विभाग अपने मूल्य कार्य की गुणवत्ता पर आवश्यक रूप से ध्यान दे। हमारी पूरी कोशिश होनी चाहिए कि कोई बच्चा कुपोषण का शिकार न हो। 
उन्होंने कहा, शासन की योजनाओं का ठीक ढंग से क्रियान्वयन करना हमारी जवाबदारी है। बच्चे कुपोषित न हो इसके लिए सभी आंगनबाड़ी और आशा कार्यकर्ता मिलकर सेवाभाव से कार्य करें। कार्यशाला में कमिश्नर प्रवीण गर्ग, आयुक्त महिला सशक्तिकरण श्रीमती कल्पना श्रीवास्तव, आयुक्त एकीकृत बाल विकास सेवा मनोहर अगनानी एवं संभाग के कलेक्टर्स, मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत सहित संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद थे। श्री नायडू ने कहा, मां और बच्चा दोनों स्वस्थ रहें इस के लिए एक संयुक्त अभियान चलाया जाए। तीन वर्ष से कम उम्र के बच्चों का ज्यादा ध्यान देने की आवश्यक है। श्री नायडू ने कहा कि इस कार्यक्रम को मनरेगा से कैसे जोड़ा जाए इसका भी पता लगाएं। इस दौरान संभागायुक्त ने कहा कुपोषण जैसी बुराई को जड़ से मिटाया जा सकता है। महिला बाल विकास और स्वास्थ्य विभाग मिलकर कुपोषण के खिलाफ कार्य करें। कार्यशाला में आयुक्त मनोहर अगनानी ने लाड़ली लक्ष्मी योजना की समीक्षा की और सभी लंबित एनएससी मार्च तक बनवाने के निर्देश दिए। सभी कलेक्टर्स और जिला कार्यक्रम अधिकारियों को इस संबंध 28 फरवरी तक सुझाव देने को कहा गया। 

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